रोज़गार के साथ प्रवासी-मज़दूरों पर अत्याचार भी बना मुद्दा!
दूसरे चरण के मतदान के लिए तैयार होते बिहार में पहले चरण की तरह ही रोजगार का मुद्दा प्रभावी बना हुआ है. सबसे अधिक प्रवासी मजदूर दूसरे चरण के इलाके से ही माने जाते हैं। ऐसे में उनका मुद्दा भी रोजगार के साथ नत्थी हो गया दिखता है. इसके क्या राजनीतिक निहितार्थ हैं, बता रहे हैं वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश.
अपने टेलीग्राम ऐप पर जनवादी नज़रिये से ताज़ा ख़बरें, समसामयिक मामलों की चर्चा और विश्लेषण, प्रतिरोध, आंदोलन और अन्य विश्लेषणात्मक वीडियो प्राप्त करें। न्यूज़क्लिक के टेलीग्राम चैनल की सदस्यता लें और हमारी वेबसाइट पर प्रकाशित हर न्यूज़ स्टोरी का रीयल-टाइम अपडेट प्राप्त करें।