गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली हेमंत सोरेन की याचिका पर न्यायालय में सुनवाई शुक्रवार को
नयी दिल्ली: झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के नेता हेमंत सोरेन की धन शोधन मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा उनकी गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली याचिका पर उच्चतम न्यायालय शुक्रवार को सुनवाई करने के लिए सहमत हो गया।
सोरेन को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद धनशोधन के एक मामले में बुधवार रात को गिरफ्तार कर लिया गया। ईडी ने कथित भूमि धोखाधड़ी मामले से जुड़े धनशोधन के आरोपों को लेकर सात घंटे से अधिक की पूछताछ के बाद बुधवार को हेमंत सोरेन को गिरफ्तार कर लिया था।
#BREAKING Former Jharkhand CM #HemantSoren appraoches #SupremeCourt challenging ED arrest.
Sr Adv Kapil Sibal says that Soren is withdrawing the petition filed in the High Court.
CJI agrees to list the matter tomorrow. pic.twitter.com/A8aazm5bcd
— Live Law (@LiveLawIndia) February 1, 2024
सोरेन ने पहले झारखंड के उच्च न्यायालय में अपनी गिरफ्तारी को चुनौती दी और आज उन्होंने अपने वकीलों के माध्यम से उच्चतम न्यायालय का रुख किया।
प्रधान न्यायाधीश डी.वाई. चंद्रचूड़, न्यायमूर्ति जे.बी. पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ बृहस्पतिवार को झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री की याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई करने के लिए सहमत हुई।
झारखंड उच्च न्यायालय के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश श्री चंद्रशेखर और न्यायमूर्ति अनुभा रावत चौधरी सोरेन की अपील पर बृहस्पतिवार को सुनवाई करने वाले थे। लेकिन सोरेन की ओर से पेश वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल, अभिषेक सिंघवी तथा अन्य कानूनी सहयोगियों ने रणनीति बदली और झारखंड उच्च न्यायालय से राहत पाने की दिशा में आगे बढ़ने के बजाय उच्चतम न्यायालय का रुख करने का फैसला किया।
उन्होंने शीर्ष अदालत को बताया कि सोरेन इस मुद्दे पर झारखंड उच्च न्यायालय में दायर अपनी याचिका वापस ले लेंगे।
सिब्बल ने प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ से कहा, ‘‘हम उच्च न्यायालय में दायर याचिका वापस ले लेंगे...आम चुनाव से ठीक पहले गिरफ्तार किए जाने के तरीके से देश की राजनीति पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है।’’
सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता और अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एस वी राजू ने सोरेन की याचिका का विरोध करते हुए कहा कि उच्च न्यायालय बृहस्पतिवार को याचिका पर पहले ही सुनवाई करने वाला है।
सिब्बल ने सोरेन की गिरफ्तारी के समय और अन्य प्रक्रियात्मक पहलुओं का उल्लेख किया और कहा कि यह एक ‘‘गंभीर मामला’’ है। उन्होंने यह सवाल भी किया कि किसी राज्य के मुख्यमंत्री को इस तरह कैसे गिरफ्तार किया जा सकता है।
एएसजी ने जवाब दिया, ‘‘उनके खिलाफ बहुत गंभीर आरोप भी हैं।’’
सीजेआई ने कहा, ‘‘हम इसे कल रखेंगे...हमने कागजात नहीं पढ़े हैं।’’ उन्होंने दोनों पक्षों के वकीलों से शुक्रवार के लिए तैयार रहने को कहा।
सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हजारों लोगों को गिरफ्तार किया है और वे सभी सीधे शीर्ष अदालत में नहीं आ सकते।
सोरेन को मामले में ईडी ने सात घंटे की पूछताछ के बाद बुधवार को गिरफ्तार किया था।
इससे पहले सोरेन गठबंधन विधायकों के साथ अपना इस्तीफा देने के लिए राजभवन गए थे। ईडी की टीम भी वहां मौजूद थी।
सूत्रों ने दावा किया कि 48 वर्षीय सोरेन ने ईडी की पूछताछ के दौरान स्पष्ट जवाब नहीं दिए इसलिए उन्हें धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत हिरासत में ले लिया गया।
सूत्रों के मुताबिक, उम्मीद है कि ईडी सोरेन को रांची में एक विशेष पीएमएलए अदालत के समक्ष पेश करेगी और एजेंसी हिरासत में पूछताछ के लिए उनकी रिमांड की मांग करेगी।
झामुमो नेता के खिलाफ धन शोधन के आरोप ‘भू माफिया’ के सदस्यों के साथ उनके कथित संबंधों के अलावा कुछ अचल संपत्तियों के कथित अवैध कब्जे को लेकर हैं।
केंद्रीय जांच एजेंसी के अनुसार, यह जांच झारखंड में ‘‘माफिया द्वारा भूमि के स्वामित्व को अवैध रूप से बदलने के एक बड़े रैकेट’’ से जुड़ी है।
ईडी ने इस मामले में अब तक 14 लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें 2011 बैच के आईएएस अधिकारी छवि रंजन भी शामिल हैं, जो राज्य के समाज कल्याण विभाग के निदेशक और रांची के उपायुक्त के रूप में कार्यरत थे।
ईडी कथित तौर पर ‘‘करोड़ों रुपये मूल्य की जमीन हासिल करने के लिए जाली/फर्जी दस्तावेजों की आड़ में डमी विक्रेताओं और खरीदारों को दिखाकर आधिकारिक रिकॉर्ड में हेरफेर कर भारी कमाई किए जाने’’ की जांच कर रही है।
ईडी की एक टीम ने सोमवार को सोरेन के दिल्ली आवास की तलाशी ली और धन शोधन मामले में उनसे पूछताछ करने के लिए लगभग 13 घंटे तक वहां डेरा डाला।
एजेंसी ने तलाशी के दौरान 36 लाख रुपये, एक एसयूवी और कुछ ‘‘आपत्तिजनक’’ दस्तावेज जब्त करने का दावा किया है।
(समाचार एजेंसी भाषा के इनपुट के साथ)
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